कोरोना महामारी के दौर में कंफेडरेशन ऑफ कॉलेज एंड स्कूल ऑफ पंजाब ने सरकार के सामने एक अनूठी मांग रखी है। "नालें पुण्य-नालें फलियां" जैसी कहावत की पूर्ति के तहत मांग की है कि अगर सरकार उन्हें स्कालरशिप स्कीम का केंद्र से आया 309 करोड़ रुपया जारी करती है तो वह पंजाब के स्कूल व कालेजों में 10 हजार बेड ऑक्सीजन के साथ मुहैया कराएंगे।
कंफेडरेशन के चेयरमैन एवं पूर्व मंत्री अश्वनी सेखड़ी यहां प्रेस कांफ्रेंस में मीडिया से मुखातिब हुए और इस आशय का दावा किया।सेखड़ी ने कहा कि स्कूल व कालेजों में पंखों, कूलर, एयर कंडीशनर से लेकर कैंटीन, फार्मेसी स्टाफ जिन्हें बाबा फरीद यूनिवर्सिटी ट्रेनिंग देगा आदि उपलब्ध करवाए जाएंगे। इससे उनका इस महामारी में योगदान भी पड़ जाएगा। सरकार पर भी अतिरिक्त बोझ नही पड़ेगा। यह पैसा उन्ही का है और वह उसे लेकर महामारी में योगदान डालेंगे।
उन्होंने कहा कि पंजाब स्कॉलरशिप स्कीम फंड जारी करने में बाकी कई अन्य राज्यों से पीछे है जिसका बाकायदा लिखित उन्होंने मीडिया को दिया। इस बारे सरकार के नुमाईन्दे मौजूदा मुख्य सचिव विन्नी महाजन को मांग पत्र दिया गया है। यह भी कहा कि सरकार कई फैसले ऐसे ले रही है जिसके चलते कई कॉलेजों व स्कूल मालिक इस समय बैंक में डिफाल्टर तक हो गए है। इस मौके पर अश्वनी सेखड़ी के अतिरिक्त सेंट सोल्जर ग्रुप से अनिल चोपड़ा व राजन चोपड़ा, DIPS से तरविंदर सिंह, इनोसेंट ग्रुप से डॉ. अनूप बोरी, लिटिल/ला ब्लॉसम ग्रुप से संजीव मड़िया, यश पॉल मित्तल, वी.पी. सिंह आदि मौजूद थे।